चतुर्मासीय अभियान के तहत प्रबोधिनी फाउंडेशन ने रोपित किए 51 औषधीय पौधे

वृक्ष धरा का भूषण है- दूर करता प्रदूषण है” एवं “हरी काशी – स्वस्थ काशी, मस्त काशी” के लगाये नारे

रोहनिया

पर्यावरण संरक्षण और जनस्वास्थ्य को समर्पित प्रबोधिनी फाउंडेशन ने चतुर्मास (आषाढ़ शुक्ल देवशयनी एकादशी से कार्तिक पूर्णिमा तक) एक अनोखा अभियान चलाने की शुरुआत किया है।

वृक्ष धरा का भूषण है- दूर करता प्रदूषण है” एवं “हरी काशी – स्वस्थ काशी, मस्त काशी” के नारे के साथ विगत कार्तिक पूर्णिमा से आगामी कार्तिक पूर्णिमा तक पांच लाख औषधीय आधारित पौधा रोपण के संकल्प के शेष चार माह की अवधि जो वृक्षारोपण के लिये सबसे उपयुक्त समय है

उसमें अपने संकल्प को पूरा करने हेतु रणनीति के तहत चरण बद्ध तरीके अभियान के तहत आराजी लाइन विकासखंड क्षेत्र के मोहनसराय,बैरवन,कचनार, रखौना, मेहदीगंज आदि गांव में प्रबोधिनी फाउंडेशन संस्था के महासचिव विनय शंकर राय ‘मुन्ना’ के नेतृत्व में चतुर्मासीय अभियान के दौरान नीम, आंवला, पीपल, बरगद, सैजन, आम, जामुन, बेल, तुलसी, पारिजात, अर्जुन व गिलोय सहित कुल 501 औषधीय पौधों का रोपण किया गया।

प्रबोधिनी फाउंडेशन संस्था के महासचिव विनय शंकर राय मुन्ना ने बताया कि पारिजात, तुलसी, अर्जुन, बेल, आंवला जैसे पौधे शरीर को स्वस्थ रखने के साथ ही पर्यावरण को भी संतुलित करते हैं।प्रबोधिनी फाउंडेशन का यह प्रयास ना केवल काशी को फिर से ‘आनंदकानन वन’ की छवि देने की दिशा में एक मजबूत कदम है, बल्कि पर्यावरणीय एवं आयुर्वेदिक चेतना को सामाजिक आंदोलन का रूप देने का प्रयास करेगा।

अभियान का संचालन करते हुए गगन प्रकाश यादव ने कहा कि यह अभियान केवल पौधारोपण तक सीमित नहीं रहेगा, बल्कि लोगों को इन पौधों के औषधीय गुणों और उनके दैनिक जीवन में उपयोग को लेकर जागरूक भी किया जाएगा।

अभियान में प्रमुख रूप से विजय नरायण वर्मा, मोहम्मद अकरम, प्रेम शाह, गगन प्रकाश यादव, मेवा पटेल, उदय प्रताप, हृदय नरायण उपाध्याय, रमेश पटेल, नीरज पटेल, प्रेम पटेल, पवन दुबे, कंचन मौर्या, वेदान्त राय और धीरू यादव सहित इत्यादि लोग शामिल रहे।

रिपोर्ट – रामविलास यादव

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