आईआईवीआर में लग रही है दूरदर्शन की कृषि चौपाल

सब्जी उत्पादन: अनुसंधान से किसान तक, पर विशेष चर्चा

राष्ट्रीय प्रसारण के माध्यम से देशभर के किसानों को मिलेगी आधुनिक सब्जी उत्पादन तकनीकों की जानकारी

नई दिल्ली –

दूरदर्शन के लोकप्रिय कार्यक्रम कृषि चौपाल में आगामी कार्यक्रम में “सब्जी उत्पादन: अनुसंधान से किसान तक” विषय पर एक महत्वपूर्ण चर्चा का आयोजन किया जाएगा। इस विशेष कार्यक्रम का प्रसारण राष्ट्रीय स्तर पर किया जाएगा, जिससे देशभर के किसानों को सब्जी उत्पादन की आधुनिक तकनीकों का सीधा लाभ मिल सकेगा।

कृषि मंत्रालय, भारत सरकार की पहल पर संस्थान की वैज्ञानिक टीम दूरदर्शन के माध्यम से सब्जी उत्पादन से संबंधित नवीनतम अनुसंधान और तकनीकों पर विस्तृत जानकारी प्रदान करेगी। यह चर्चा केवल उत्पादन तक सीमित नहीं रहेगी, बल्कि सब्जियों को उपभोक्ताओं तक पहुंचाने की संपूर्ण श्रृंखला पर केंद्रित होगी।

कार्यक्रम में संस्थान के अनुभवी वैज्ञानिक किसानों को आधुनिक सब्जी उत्पादन की तकनीकों से अवगत कराएंगे। इसमें बीज की गुणवत्ता से लेकर मिट्टी की तैयारी, पोषक तत्वों का प्रबंधन, कीट-पतंगों से बचाव, और सिंचाई की उन्नत विधियों तक सभी पहलुओं पर व्यापक चर्चा होगी।

डॉ. राजेश कुमार के मार्गदर्शन में वैज्ञानिकों की टीम किसानों को बताएगी कि कैसे अनुसंधान केंद्रों में विकसित की गई तकनीकों को खेतों में व्यावहारिक रूप से लागू किया जा सकता है।

कार्यक्रम की एक अनूठी विशेषता यह है कि यह केवल उत्पादन पर ध्यान नहीं देगा, बल्कि सब्जियों को उपभोक्ताओं तक पहुंचाने की पूरी प्रक्रिया पर प्रकाश डालेगा। इसमें फसल की कटाई के बाद उचित भंडारण, पैकेजिंग, परिवहन और मार्केटिंग की आधुनिक तकनीकों पर भी विस्तार से बात की जाएगी।

वैज्ञानिक टीम किसानों को समझाएगी कि कैसे वे अपनी उपज का बेहतर मूल्य प्राप्त कर सकते हैं और नुकसान को कम से कम कर सकते हैं। इसमें कोल्ड चेन तकनीक, प्रोसेसिंग और वैल्यू एडिशन के तरीकों की भी जानकारी दी जाएगी।

दूरदर्शन के राष्ट्रीय नेटवर्क के माध्यम से यह कार्यक्रम देश के सुदूरवर्ती क्षेत्रों तक पहुंचेगा। इससे छोटे और सीमांत किसानों को भी उन्नत तकनीकों की जानकारी मिल सकेगी, जो अन्यथा इन संसाधनों तक पहुंच नहीं रख पाते।

यह प्रसारण हिंदी के साथ-साथ क्षेत्रीय भाषाओं में भी उपलब्ध होगा, जिससे अधिक से अधिक किसान इसका लाभ उठा सकेंगे। कार्यक्रम में इंटरैक्टिव सेशन भी शामिल होगा, जहां किसान अपने प्रश्न पूछ सकेंगे और तत्काल समाधान प्राप्त कर सकेंगे।

किसानों के लिए प्रत्यक्ष लाभ –

इस कार्यक्रम से किसानों को मिलने वाले फायदों में शामिल है – उत्पादन लागत में कमी, फसल की गुणवत्ता में सुधार, बाजार में बेहतर मूल्य प्राप्ति, और नुकसान में कमी। साथ ही किसान नई किस्मों और तकनीकों के बारे में भी जान सकेंगे जो उनकी आर्थिक स्थिति को मजबूत बनाने में सहायक होंगी।

संस्थान के वैज्ञानिक सफल किसानों के केस स्टडी भी प्रस्तुत करेंगे, जिससे अन्य किसानों को प्रेरणा मिल सकेगी। इन उदाहरणों से यह स्पष्ट होगा कि कैसे आधुनिक तकनीकों को अपनाकर सब्जी उत्पादन में उल्लेखनीय वृद्धि की जा सकती है।

डॉ. राजेश कुमार और उनकी टीम का उद्देश्य इस कार्यक्रम के माध्यम से किसानों और वैज्ञानिकों के बीच एक मजबूत सेतु का काम करना है। भविष्य में इस तरह के और भी कार्यक्रमों की योजना है, जो विभिन्न फसलों और कृषि तकनीकों पर केंद्रित होंगे।

दूरदर्शन के कार्यक्रम एग्जीक्यूटिव राजीव दुबे ने कहा कि यह पहल भारत सरकार की किसान कल्याण नीतियों के अनुरूप है और देश में कृषि क्षेत्र को आधुनिक बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। इससे न केवल किसानों की आय में वृद्धि होगी, बल्कि देश की खाद्य सुरक्षा भी मजबूत होगी। कार्यक्रम की मुख्य एंकर सुश्री अंजू सिंह ने वैज्ञानिकों के साथ रिहर्सल् किया।

ख़बर को शेयर करे

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *